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हिमाचल प्रदेश में भारी बारिश और भूस्खलनों के कारण चंडीगढ़-कुल्लू (Chandigarh Kullu) हाईवे पर भारी यातायात जाम लग गया है। लगभग 50 किलोमीटर तक फैले इस जाम में हजारों वाहन फंसे हुए हैं, जिनमें सैकड़ों ट्रक भी शामिल हैं जो आवश्यक वस्तुएं ढो रहे हैं। इससे दिल्ली-एनसीआर की आपूर्ति पर गंभीर प्रभाव पड़ा है। अधिकारियों के अनुसार मंडी और कुल्लू के बीच कई स्थानों पर सड़क बाधित है। जबकि छोटे वाहन गुजरने की अनुमति पा रहे हैं, भारी ट्रक अभी भी फंसे हुए हैं और राहत कार्य जारी है।
ट्रक चालकों का दावा: करोड़ों का नुकसान
ट्रक चालकों ने बताया कि इस स्थिति ने उन्हें भारी नुकसान पहुंचाया है। सेब, टमाटर और अन्य सब्जियों के कई ट्रक फंसे हुए हैं और करोड़ों रुपये की उपज सड़ने लगी है। प्रत्येक ट्रक का मूल्य लगभग 4-4.5 लाख रुपये है और केवल सेब ही 50 करोड़ रुपये से अधिक के मूल्य के फंसे हुए हैं। साहिबाबाद फलों के बाजार को सेब पहुंचा रहे गफ़्फ़ार ने कहा कि उनका ट्रक पिछले पांच दिनों से कुल्लू में अटका हुआ है। उन्होंने NDTV को बताया, “हज़ारों ट्रक आजादपुर और साहिबाबाद मंडियों के लिए फंसे हुए हैं। हमारी उपज बर्बाद हो रही है।”
बीस नदी का उग्र बहाव और सड़क क्षति
अधिकारियों ने बताया कि बीस नदी की तेज धारा ने सड़क के कई हिस्सों को नुकसान पहुंचाया है। कुल्लू-मनाली के NHAI इंजीनियर अशोक चौहान ने कहा कि मरम्मत कार्य जारी है, लेकिन लगातार बारिश से गति धीमी हो गई है। स्थानीय निवासी जय भाल ने चेतावनी दी कि रामशिला के पास घर पहले ही क्षतिग्रस्त हो चुके हैं और भविष्य में ऐसे हादसों को रोकने के लिए आवश्यक कदम उठाए जाने चाहिए।
मनाली की कनेक्टिविटी प्रभावित, अधिकारियों ने दी चेतावनी
मनाली की सड़क कनेक्टिविटी आंशिक रूप से कट गई है। सोमवार से यहां चार दुकानें, दो रेस्टोरेंट और एक घर बारिश के कारण क्षतिग्रस्त हो गए हैं। बिलासपुर जिले की नैना देवी विधानसभा क्षेत्र के मंझेड गांव में बुधवार को एक घर गिर गया। अधिकारियों ने यात्रियों से अपील की है कि वे राहत कार्य पूरा होने तक इस मार्ग का प्रयोग न करें। मुश्किल परिस्थितियों में राहत और मरम्मत कार्य जारी है, लेकिन भारी बारिश और भूस्खलन की वजह से स्थिति अभी भी चुनौतीपूर्ण बनी हुई है।