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अमरावती :
महाराष्ट्र की राजनीति में एक बार फिर हलचल मच गई है, जब विधायक बच्चू कडू ने यह बयान दिया कि अजित पवार जल्द ही महायुती से बाहर आ सकते हैं। उनके इस बयान ने राज्य के राजनीतिक गलियारों में चर्चाओं का दौर शुरू कर दिया है। कडू ने कहा कि अगर अजित पवार महायुती से बाहर आते हैं और उनके साथ आते हैं, तो एक "महाशक्ति" तैयार हो सकती है।
कडू ने आगे कहा कि महायुती में वर्तमान स्थिति से साफ है कि गठबंधन में दरार पड़ सकती है। उन्होंने कहा कि अगर अजित पवार महायुती से बाहर नहीं आते हैं, तो ही उन्हें आगामी चुनाव में सीटें कम मिलेंगी, जिससे उनके लिए स्थिति कठिन हो सकती है।
अजित पवार के भविष्य का निर्णय महायुति करेगी
कडू ने यह भी स्पष्ट किया कि अगर अजित पवार महायुती से बाहर आकर उनके साथ आने का निर्णय लेते हैं, तो इस पर अंतिम फैसला उनकी "सुकाणू समिती" करेगी। सूत्रों के अनुसार, महायुती में रहकर अजित पवार को सीमित सीटों पर चुनाव लड़ना पड़ सकता है। अगर उन्हें यह समझौता मंजूर नहीं होता, तो उनके पास अलग होकर चुनाव लड़ने के अलावा कोई विकल्प नहीं रहेगा।
शिवसेना और BJP की योजना का हिस्सा?
सूत्रों का कहना है कि अगर अजित पवार महायुती से बाहर आते हैं, तो इससे बीजेपी और शिवसेना को फायदा हो सकता है। कुछ राजनीतिक विशेषज्ञों का दावा है कि अजित पवार को सीमित सीटों पर चुनाव लड़ने के लिए मजबूर कर, उन्हें अलग होने के लिए उकसाया जा रहा है।
अगर अजित पवार स्वतंत्र रूप से चुनाव लड़ते हैं, तो यह चुनावी समीकरणों को नया मोड़ दे सकता है, और उनके कुछ विधायक जीतकर गठबंधन या विपक्षी दलों के लिए अहम साबित हो सकते हैं।