(Image Source : Internet)
नागपुर।
राम झूला हिट एंड रन केस की मुख्य आरोपी रितिका उर्फ रितु दिनेश मालू को एक बार फिर न्यायालय से झटका मिला है। सत्र न्यायालय ने रितु की जमानत अर्जी खारिज कर दी। माना जा रहा है कि अब रितु की दिवाली जेल में ही गुजरेगी। उसकी १३ वर्षीय बेटी के स्वास्थ्य को आधार बनाकर बचाव पक्ष ने न्यायालय से जमानत मांगी थी।
अतिरिक्त जिला व सत्र न्यायाधीश आरएस पाटिल-भोसले ने उसकी जमानत अर्जी खारिज करते हुए कहा कि बेटी की देखभाल करने के लिए परिजन है। ज्ञात हो कि रितु ने शराब के नशे में अपनी कार से राम झूला पर दोपहिया वाहन पर सवार युवकों को उड़ा दिया था। इस मामले में दोनों युवकों की मौत हो गई। लंबी कानूनी लड़ने के बाद आखिर प्रकरण की जांच सीआईडी को सौंपी गई। सीआईडी को रितु की कस्टडी पी मिली और अब यह जेल की हवा खा रही है। मालू के वकील चंद्रशेखर जलतारे ने सत्र न्यायालय में नियमित जमानत अर्जी दायर की। उन्होंने न्यायालय को बताया कि प्रकरण की जांच पूरी हो चुकी है।
इसीलिए उसे जमानत मिलनी चाहिए। रितु की १३ वर्षीय बेटी मिर्गी की बीमारी से ग्रस्त है। उसके उपचार के दस्तावेज भी न्यायालय के समक्ष रखे गए। बचावपक्ष ने न्यायालय को बताया कि बच्ची की देखभाल के लिए मां का घर पर होना जरूरी है। सरकारी वकील रश्मिा खापर्डे ने न्यायालय को बताया कि यह एक गंभीर अपराध है। सीआईडी अब भी प्रकरण की जांच कर रही है। रितु ने जांच में सहयोग नहीं किया है। वह लंबे समय तक फरार थी। जमानत मिलने से वह दोबारा फरार हो सकती है और आंच प्रभावित हो सकती है। घटना के समय रितु द्वारा पारण किए गए वस जांच एजेंसी को नहीं मिले हैं। अब भी कुछ सबूत इकट्टे होना बाकी है। इसीलिए चार्जशीट दायर होने तक उसे जमानत नहीं मिलनी चाहिए। अभियोजना पक्ष को सहयोग कर रहे पीड़ित परिवार के वकील अमोल हूंगे ने न्यायालय को बताया कि रितु पढ़ी-लिखी महिला है।